उत्तर प्रदेश सरकार अब हरियाली को बढ़ावा देने के साथ-साथ जानवरों और किसानों की मदद करने की तैयारी में है। राज्य में नदियों और सड़कों के किनारे 7 करोड़ से भी ज्यादा फलदार पौधे लगाने की योजना बनाई गई है। इसमें आम, जामुन, आंवला, इमली, बेल, सहजन, शहतूत, जंगल जलेबी, बेर, कैथा, बहेड़ा और महुआ जैसे देसी पेड़ शामिल हैं।
यूपी में सड़क किनारे लगेगी 7 करोड़ फलदार पौधे रोपने से संबंधित मुख्य बिंदु
1 यूपी के वन बल प्रमुख सुनील चौधरी ने बताया कि हमारी नर्सरियों में इस समय 45.37 करोड़ पौधे उपलब्ध हैं।
2.वन विभाग अगले मानसून सीज़न में फलदार पौधे लगाने के लिए खाली सरकारी जमीन चिह्नित कर रहा है।
3.वन विभाग की नर्सरी में भी 11.12 करोड़ पौधे उपलब्ध हैं।
4.आगामी मानसून सत्र में प्रदेश सरकार ने 35 करोड़ पौधे रोपने का लक्ष्य वन समेत विभिन्न विभागों को दिया है।
5.वृक्षारोपण स्थल:
राष्ट्रीय और राज्य राजमार्गों के किनारे
ग्रामीण सड़कों, नहरों और रेलवे ट्रैक के पास
6.जनभागीदारी: स्कूल, कॉलेज, सामाजिक संगठन और स्थानीय समितियां शामिल होंगी।
7.स्थानीय स्तर पर समितियां बनाई जाएंगी जो पौधों की सुरक्षा और देखभाल करेंगी।
8.फलदार पेड़ होने के कारण ये परियोजना आर्थिक और पर्यावरणीय दोनों दृष्टिकोण से लाभकारी है।
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने क्या कहा?
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस पहल को “हरित क्रांति की ओर एक और कदम” बताते हुए कहा, “हमें अपनी आने वाली पीढ़ियों को स्वच्छ वायु और हरियाली से भरपूर प्रदेश देना है। यह अभियान न केवल पर्यावरण को लाभ पहुंचाएगा बल्कि आम जनता को भी उससे प्रत्यक्ष लाभ मिलेगा।”
कहां-कहां होगा वृक्षारोपण?
यह वृक्षारोपण कार्यक्रम मुख्य रूप से राष्ट्रीय और राज्य राजमार्गों, ग्रामीण सड़कों, नहरों और रेलवे ट्रैक के किनारे किया जाएगा। इसके लिए वन विभाग, ग्राम पंचायतें और स्वयंसेवी संस्थाओं की भागीदारी सुनिश्चित की जा रही है।
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पर्यावरणविदों ने बताया सराहनीय कदम
पर्यावरण विशेषज्ञों ने इसे एक दूरदर्शी योजना बताते हुए कहा कि फलदार पेड़ न केवल हरियाली बढ़ाएंगे, बल्कि स्थानीय जैवविविधता को भी बढ़ावा देंगे। साथ ही, आम और इमली जैसे पेड़ पक्षियों और मधुमक्खियों के लिए भी उपयुक्त आवास उपलब्ध कराते हैं।
जनभागीदारी से जुड़ेगा अभियान
राज्य सरकार इस अभियान को जनभागीदारी से जोड़ना चाहती है। इसके लिए स्कूल, कॉलेज, एनजीओ और सामाजिक संगठनों को भी वृक्षारोपण में भाग लेने के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है। हर गांव में वृक्षारोपण समितियों का गठन किया जाएगा और पौधों की देखरेख की ज़िम्मेदारी स्थानीय लोगों को दी जाएगी।
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यूपी सरकार की फलदार पौधे लगाने की नई योजना से जुड़े मुख्य FAQs
1. यह योजना क्या है?
उत्तर: उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा शुरू की गई यह योजना सड़कों के किनारे 7 करोड़ फलदार पेड़ (जैसे आम, जामुन, इमली और बेल) लगाने की है, जिसका उद्देश्य हरियाली बढ़ाना, पर्यावरण सुधारना और आर्थिक लाभ देना है।
2. ये पौधे कहां लगाए जाएंगे?
उत्तर: यह पौधे राज्य और राष्ट्रीय राजमार्गों, ग्रामीण सड़कों, नहरों और रेलवे ट्रैकों के किनारे लगाए जाएंगे।
3. इस योजना का उद्देश्य क्या है?
- पर्यावरण संरक्षण
- वायु गुणवत्ता में सुधार
- ग्रामीण क्षेत्रों में आर्थिक लाभ
- जैव विविधता को बढ़ावा देना
4. पौधों की देखरेख कौन करेगा?
उत्तर: स्थानीय ग्राम पंचायतें, स्वयंसेवी संगठन, स्कूली संस्थान और आम जनता को पौधों की देखरेख की जिम्मेदारी सौंपी जाएगी।
5. कौन-कौन से पौधे लगाए जाएंगे?
उत्तर: मुख्य रूप से आम, जामुन, इमली और बेल के पौधे लगाए जाएंगे। ये पर्यावरण के अनुकूल होने के साथ-साथ फलदायी भी हैं।