Wayanad Landslides: भारी बारिश के चलते केरल के वायनाड में मंगलवार को हुए भूस्खलन में करीब 123 लोगों की मौत पुष्टि हुई है। साथ कई घायलों को बचा लिया गया है जिनका इलाज नजदीकी अस्पताल में चल रहा है, जबकि सैकड़ों लोगों के फंसे होने की आशंका जताई जा रही है। NDRF और सेना दल के साथ अन्य एजेंसियां भी रेस्क्यू ऑपरेशन में जुटी हुई हैं। घटना की पूरी जानकारी इस लेख में विस्तार से जानेंगे साथ ही इन आपदाओं से बचने का उपाय जानेंगे।
Wayanad Landslides से सबंधित मुख्यबिंदु
- केरल के वायनाड जिले में भारी बारिश के चलते चार जगहों पर मंगलवार को तड़के सुबह अचानक भूस्खलन की भीषण प्राकृतिक घटना हुई घटित
- भूस्खलन के चलते करीब 123 लोगों की जान चली गई। जानकारी के मुताबिक यह संख्या और बढ़ सकती है।
- अभी भी सौ से अधिक लोगों के फंसे होने आशंका जताई जा रही है
- NDRF, SDRF और सेना दल के साथ अन्य एजेंसियां बचाव कार्य में जुटी हुई हैं
- केरल मुख्यमंत्री के साथ राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री ने इस घटना पर अपना दुःख जाहिर किया
- सत्य साधना करने से होता है सर्व आपदाओं से बचाव
Wayanad Landslides: 123 लोगों की मृत्यु की पुष्टि हो चुकी है तथा 100 से अधिक लोगों के फंसे होने की है आशंका
केरल के वायनाड जिला में भारी बारिश के चलते चार जगहों पर मंगलवार को तड़के सुबह अचानक भूस्खलन हुआ। इस अचानक हुए भूस्खलन में चार गांव बह गए। घर, पुल, सड़कें, गाड़ियां आदि सब कुछ बह गए।
अबतक करीब 123 लोगों की मौत की पुष्टि हुई है। मृतकों की संख्या और बढ़ने की संभावना है। वहीं करीब 100 से अधिक लोगों की फंसे होने की खबर है। उनकी तलाश अभी जारी है। 128 घायल लोगों का इलाज चल रहा है।
NDRF व अन्य एजेंसियां द्वारा बचाव कार्य जारी
NDRF, SDRF और सेना दल के साथ अन्य एजेंसियां भी रेस्क्यू ऑपरेशन में जुटी है। सेना दल ने अस्थाई पुल की मदद से करीब 1000 लोगों का सफलतापूर्वक बचाव कर लिया गया है। हालांकि एनडीआरएफ के DIG भारत भूषण वैद ने कहा है कि दो जगहों, मुंडाकाई और चूरलमाला के बीच एक पुल ढह गया है इससे जमीन पर टीम के लिए कनेक्टिविटी की परेशानी हो रही है।
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Wayanad Landslides: वहीं NDRF के डिप्टी कमांडेंट ने कहा है कि NDRF की टीम वायनाड में अलग-अलग जगहों पर तैनात है। कोझिकोड में भी भूस्खलन की संभावना थी, जिसके चलते वहां भी NDRF की टीम तैनात कर दी गई हैं। भूस्खलन प्रभावित इलाकों के अंदरूनी हिस्सों तक पहुंचने में कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है। लेकिन बचाव कार्य करने की पूरी कोशिश की जा रही है।
Wayanad Landslides: केरल के मुख्यमंत्री ने घटना को लेकर कहा
केरल के मुख्यमंत्री पिनरई विजयन ने वायनाड की घटना पर दुःख जाहिर करते हुए कहा कि घटना पर पूरी नजर रखी जा रही है। उन्होंने कहा कि केरल की सभी सरकारी एजेंसियां बचाव कार्य में कड़ी नजर रखे हुए हैं और बचाव कार्य को को-ऑर्डिनेट कर रही हैं।
राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री तथा विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने भी इस घटना पर ट्वीट कर दुख जाहिर किया
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने ट्वीट कर अपना दुःख जाहिर किया है। उन्होंने मृतक के परिवार वालों के लिए संवेदना व्यक्त की है और घायलों के ठीक होने के लिए भगवान से प्रार्थना की है।
प्रधानमंत्री मोदी जी ने ट्वीट कर घटना पर दुःख जताया है। उन्होंने PMNRF से मृतकों के परिवार वालों के लिए 2-2 लाख रुपए सहयोग राशि देने की घोषणा की है। वहीं घायलों के लिए 50-50 हजार रुपए सहयोग राशि देने कि बात की है।
Wayanad Landslides: वहीं विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने सांसद भवन में वायनाड की इस भीषण घटना को लेकर चिंता जाहिर की है। उन्होंने रक्षा मंत्री और केरल के मुख्यमंत्री से प्रार्थना की है। उन्होंने कहा है कि घायलों के इलाज के लिए अच्छी मेडिकल सुविधा उपलब्ध कराई जाए। सहयोग राशि देने की बात भी उन्होंने कही।
जानें भूस्खलन क्यों होता है?
Wayanad Landslides: मुख्य तौर पर भूस्खलन वनों की कटाई, भारी बारिश, भूकंप, ज्वालामुखी विस्फोट या फसल पैटर्न में बदलाव के कारण होता है। लेकिन मानव गतिविधियों की वजह से भी भूस्खलन की समस्या बढ़ी है। अपने स्वार्थ के लिए मानव प्रकृति के साथ बहुत खिलवाड़ कर रहा है, जिसके चलते इस तरह की प्राकृतिक आपदाओं की संख्या में वृद्धि देखी गई है।
प्राकृतिक आपदाओं से कैसे बचें?
- प्राकृतिक आपदाओं से बचने का सबसे पहला और सरल उपाय है कि हम सभी मनाव अपने स्वार्थ के लिए प्रकृति से खेलना बंद करें।
- सतत विकास पर जोर दें और आनी वाली पीढ़ियों के लिए भी सावधान रहें।
- परमात्मा ने हम सभी को बनाया और परमात्मा ने ही प्रकृति बनाई इसलिए परमात्मा से डर कर कार्य करें।
- सत्य साधना करने वाले साधक की अकाल मृत्यु यानी प्राकृतिक आपदाओं के कारण मृत्यु नहीं होती है।
अकाल मृत्यु से कैसे बचें?
अकाल मृत्यु से बचने के लिए केवल एक ही उपाय ‘सतभक्ति’ है। पवित्र सद्ग्रंथों में स्पष्ट बताया गया है कि जो साधक पूर्ण ब्रह्म कबीर परमात्मा जी की सतभक्ति करता है, उसकी कभी अकाल मृत्यु नहीं होती है। सतभक्ति केवल सच्चे सतगुरुदेव जी अर्थात तत्वदर्शी संत ही प्रदान कर सकते हैं। अब प्रश्न उठता है कि सच्चे सतगुरु अर्थात तत्वदर्शी संत की पहचान कैसे हो?
पवित्र गीता जी अध्याय 15 के श्लोक 1 से 4 में सच्चे सतगुरु अर्थात तत्वदर्शी संत की पहचान बताई गई है। तत्वदर्शी संत संसार रूपी उल्टे लटके हुए पीपल वृक्ष के सभी भागों को विस्तार से बताते हैं। उनके द्वारा बताई गई भक्ति साधना से कभी अकाल मृत्यु नहीं तथा पूर्ण मोक्ष प्राप्त की होती है। अधिक जानकारी के लिए अवश्य visit करें www.jagatgururampalji.org
FAQ About Wayanad Landslides in Hindi
Q.1 हाल ही में वायनाड में भूस्खलन की प्राकृतिक घटना में कितने लोगों की मृत्यु हुई है?
Ans. 123 लोगों की मौत की पुष्टि हो चुकी है।
Q.2 वायनाड भूस्खलन घटना में मृतकों तथा घायलों के लिए कितनी सहायता राशि दी जाएगी?
Ans? मृतकों के परिवारों के लिए 2 लाख रुपए तथा घायलों के लिए 50-50 हजार रुपए की सहायता राशि की घोषणा की गई है।
Q.3 वायनाड की भूस्खलन दुर्घटना में कितने लोगों के फंसे होने की आशंका जताई गई है?
Ans. 100 से अधिक लोगों की।